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अनियंत्रित होकर खेत में जा गिरा यूटीलिटी वाहन

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देहरादून। देहरादून के सहिया क्षेत्र में बिरमौ गांव से साहिया आ रहा यूटीलिटी वाहन उपरौली के पास अनियंत्रित होकर सड़क से खेत में जा गिरा। हादसे में महिला समेत पांच लोग घायल हो गए।  बिरमौ गांव से चालक गीतादास (25) पुत्र शशकू निवासी बिरमौ साहिया के लिए यूटीलिटी लेकर जा आ रहा था। जैसे ही गाड़ी उपरौली के पास पहुंची ढलानदार रास्ता पर अचानक मोड आया और वाहन के ब्रेक फेल हो गए।  इससे यूटीलिटी सड़क से नीचे सीधे नीचे खेत में जा गिरी। हादसे में चालक गीतादास, झूलो देवी (60) पत्नी सबल सिंह निवासी बिनऊ, रोहित (17) पुत्र शशिया दास निवासी उपरौली, जयपाल सिंह (16) पुत्र चमन सिंह निवासी उपरौली, विक्की (15) पुत्र दयालू निवासी उपरौली गंभीर घायल हो गए।  घायलों को आसपास के ग्रामीणों ने खाई से निकालकर सीएचसी साहिया पहुंचाया। प्राथमिक उपचार के बाद भी चालक गीता दास व झूलो देवी की हालत में सुधार न होते देख चिकित्सकों ने दोनों को हायर सेंटर रेफर कर दिया।

उत्‍तराखंड में बिजली की दर बढ़ाने को विभाग ने कमर कसी

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देहरादून।  यूपीसीएल वर्ष 2018-19 के लिए बिजली दरों में 13.5 फीसद वृद्धि करने का प्रस्ताव यूईआरसी को देगा। सोमवार को यूपीसीएल की निदेशक मंडल की बैठक में प्रस्ताव का अनुमोदन हुआ। उत्तराखंड विद्युत नियामक आयोग (यूईआरसी) अगले तीन महीने में प्रस्ताव का अध्ययन, गणना के साथ ही जन सुनवाई करेगा। जिसके बाद मार्च के अंतिम सप्ताह में नए टैरिफ की घोषणा होगी। सूत्रों के मुताबिक उत्तराखंड पावर कार्पोरेशन लिमिटेड (यूपीसीएल) ने 22 फीसद वृद्धि का प्रस्ताव तैयार किया था। लेकिन, कुछ दिन पहले ऑडिट कमेटी की बैठक हुई थी, जिसमें कमेटी सदस्यों ने इसे अधिक बताया था और कम करने की बात कही थी। अब यूपीसीएल ने इसे कैसे कम किया, ये बाद में ही पता चल सकेगा। बैठक सचिव ऊर्जा एवं निदेशक मंडल की अध्यक्ष राधिका झा की अध्यक्षता में हुई। इसमें अपर सचिव ऊर्जा एवं पिटकुल के प्रबंध निदेशक रणवीर सिंह चौहान, यूपीसीएल के प्रबंध निदेशक बीसीके मिश्रा, यूजेवीएनएल के प्रबंध निदेशक एसएन वर्मा, यूपीसीएल के स्वतंत्र निदेशक जेएल बजाज, सीएम वासुदेव, अब्दुल सामी, निदेशक वित्त एमएल वर्मा, निदेशक परियोजना एमके जैन, निदेशक परिचाल

आधार केंद्रों के सरकारी घोषित होने से दोबारा खुलने की उम्मीद

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देहरादून।  सरकारी भवनों में शिफ्ट न करने के कारण बंद किए गए 200 से ज्यादा आधार केंद्रों के सरकारी घोषित होने से दोबारा खुलने की उम्मीद जगी है। इस संबंध में आधार केंद्र एसोसिएशन ने सचिव आइटी से मुलाकात की थी। जिसके बाद उन्हें इन केंद्रों को सरकारी घोषित करते हुए खोलने का आश्वासन दिया गया। साथ ही सचिव ने फाइल को मुख्य सचिव के पास भेज दिया है। यदि मुख्य सचिव अनुमति देते हैं तो आधार केंद्रों के खुल जाने से लोगों को राहत मिलेगी। दरअसल, इन केंद्र संचालकों से कहा गया था कि वे अपने केंद्र सरकारी भवनों में शिफ्ट कर दें, जिससे कि इनका संचालन सरकारी अधिकारियों की देखरेख में हो सके। उद्देश्य यह था कि इससे आधार कार्ड बनाने के नाम पर हो रही अवैध वसूली पर रोक लगेगी। अब स्थिति ये हो गई कि केंद्र बंद होने से लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। इस मामले में दो दिन पहले दून सीएचसी वेलफेयर एसोसिएशन ने सचिवालय में सचिव आइटी रविनाथ रमन से मुलाकात की। इस दौरान एसोसिएशन ने कहा कि केंद्र बंद होने से लोगों को तो दिक्कतें हो ही रही हैं, साथ ही आधार केंद्र संचालक भी परेशान हैं। कहा कि प

डैशबोर्ड को लेकर गंभीर नजर आ रही है सरकार

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देहरादून । मुख्यमंत्री डैशबोर्ड को लेकर सरकार बेहद गंभीर नजर आ रही है। सरकार के निर्देशों पर शासन ने स्पष्ट किया है कि इस डैश बोर्ड में विभाग के समन्वयक के रूप में जुड़ने वाला कोई भी अधिकारी अपर सचिव स्तर से नीचे का नहीं होगा। यानी, अपर सचिव व इसे ऊपर स्तर के अधिकारी ही विभागों से संबंधित बातों के लिए सीधे जवाबदेह होंगे। इन अधिकारियों पर ही अपने विभाग का डाटा साइट पर अपडेट करने की जिम्मेदारी रहेगी।    कुछ समय पहले मुख्यमंत्री डैशबोर्ड बनाने का निर्णय लिया गया था। इसका मकसद यह कि मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत अपने कार्यालय में ही डैशबोर्ड से ही सभी विभागों और जिलों की समीक्षा करेंगे। इसमें विशेष यह था कि इस प्रणाली में सरकार की प्राथमिकताओं, उपलब्धियों, फ्लैगशिप कार्यक्रम, विभागों की परफॉरमेंस की स्टार रेटिंग और चैट बोर्ड रखा गया है। यानी इसमें सचिवालय से लेकर जिलों तक के विभागों पर सीधे मुख्यमंत्री की नजर रहेगी। इसमें किसी ने लापरवाही बरती तो खुद मुख्यमंत्री उस पर कड़ी कार्यवाही कर सकेंगे। सीएम डैशबोर्ड के लिए सॉफ्टवेयर एनआइसी व आइटीडीए ने विकसित किया है। इस सॉफ्टवेयर में जिलों

दुकानदार ने ट्रेन के आगे कूदकर दी जान

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देहरादून।  राजधानी दून के जोगीवाला क्षेत्र में एक दुकानदार ने ट्रेन के आगे कूदकर आत्‍महत्‍या कर ली। पुलिस ने शव को कब्‍जे में लिया है। मृतक के पास से एक सुसाइड नोट मिला है जिसको लेकर मृतक के परिजन और पुलिस भी सकते में आ गए। प्राप्त जानकारी के अनुसार सोमवार को चौकी जोगीवाला पर सिटी कंट्रोल से सूचना मिली कि बद्रीपुर फाटक के पास एक रेलवे ट्रैक पर एक व्यक्ति का शव पड़ा है। इस पर पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्‍जे में लिया। शव की शिनाख्त मोहम्मद रिहान (50 वर्ष) पुत्र अब्दुल रहमान निवासी बद्रीपुर जोगीवाला देहरादून के रूप में हुई। शव के पास से एक सुसाइड नोट भी मिला है, जिसमें लिखा है 'मैं हार गया नो पोस्टमार्टम कॉल माई ब्रदर तनवीर।' जिसमें मृतक के हस्ताक्षर भी है। शव का पंचनामा भरकर पोस्‍टमार्टम के लिए भिजवाया गया है। अधेड़ उम्र के मृतक की अपनी एक कपड़े की दुकान थी। प्रथम दृष्टया पुलिस मानकर चल रही है कि संभवतः मृतक दुकानदार को व्यापार में घाटा हो गया होगा, जिस वजह से उसने आत्महत्या करने का मन बनाया। बहरहाल पुलिस मामले कि जांच में जुट गयी है।

सवालों के घेरे में सड़क सुरक्षा सेमिनार

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देहरादून।   राज्य स्तरीय सड़क सुरक्षा सेमिनार में भाषण और आंकड़ेबाजी से सुझाव तो हजार दिए गए। मगर, समाधान को मौके पर एक भी निर्णय नहीं हो पाया। यह तब हुआ, जब मुख्यमंत्री के साथ ही नीति नियंता कार्यक्रम में मौजूद रहे। सेमिनार में समाधान का ब्लू प्रिंट नहीं निकल पाने से इसके औचित्य पर भी सवाल खड़े होते हैं। इधर, सेमिनार का पूरा फोकस राज्य के बजाय देहरादून के ट्रैफिक के इर्द-गिर्द ही रहा। ट्रैफिक निदेशायल की ओर से आयोजित राज्य स्तरीय सड़क सुरक्षा सेमिनार की पहल को हर किसी ने सराहा। स्वयं शासन के अफसरों ने इस तरह के आयोजन की मंच से खूब तारीफ की। मगर, समाधान की बारी आई तो हर किसी ने आंकड़ेबाजी पेश कर भविष्य में सुधार पर बात टाल दी। यही नहीं एक-दूसरे से समन्वय का अभाव भी बैठक में साफ देखा गया। मुख्यमंत्री, परिवहन मंत्री, मुख्य सचिव, डीजीपी, परिवहन आयुक्त समेत शासन के कई सचिवों की मौजूदगी में उम्मीद थी कि अतिक्रमण, सड़क सुधार या फिर ट्रैफिक सुधार को लेकर राज्य स्तरीय निर्णय होंगे। मगर, सेमिनार का फोकस देहरादून शहर को लेकर रहा। विशेषज्ञों ने भी दून के ट्रैफिक सुधार पर ही अपने सुझ

उत्तराखंड में होगी डांसिंग स्टार की खोज

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देहरादून।  उत्तराखंड डांसिंग स्टार इस प्रदेश के उन डांसर्स के लिए वरदान है जो सिर्फ प्रदेश में ही नही बल्कि देश में अपनी प्रतिभा का लोहा मनवाते है। ऐसे ही एक प्रतिभागी और उत्तराखंड डांसिंग स्टार का स्टार आकाश थापा सोनी tv पर प्रसारित सुपर डांसर 2 में टॉप 10 में पहुच कर विजेता बनने की ओर अग्रसर है। उक्त वक्तव्य उत्तराखंड डांसिंग स्टार के आयोजक श्रेयन ठाकुर ने बिग फ्रेम्स फिल्म्स के आफिस में पत्रकार वार्ता के दौरान कहे। उन्होंने बताया कि आकाश थापा के अलावा और भी बहुत सी प्रतिभाएं है जो बहुत जल्दी अन्य tv चैनल्स पर छा जाने वाली है। उन्होंने बताया कि बिग फ्रेम्स ऐसी प्रतिभाओ को सम्मानित करेगा और अन्य टैलेंटेड डांसर्स को खोजने की कोशिश करता रहेगा। बिग फ्रेम्स की ब्रांड अम्बेसडर और उत्तराखंड की उभरती मॉडल भावना रावत ने कहा कि उत्तराखंड डांसिंग स्टार 2018 का 2nd सीजन शुरू होने जा रहा है जिसमे प्रदेश और देश के अन्य जगहों से 4 साल से 14 साल तक के बच्चे हिस्सा ले सकते है। डांस का फॉरमेट पूरी तरह से बॉलीवुड और फोक बेस रहेगा, उन्होंने बताया कि हम चाहते है कि बच्चे आज के अन्य फॉरम

त्रिवेंद्र सिंह रावत ने की केंद्रीय मंत्री हर्षवर्धन से मुलाकात

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देहरादून । पूर्वी और पश्चिमी सीमा क्षेत्र की भांति लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (एलएसी) से 100 किमी की हवाई दूरी पर दो लेन की सड़क निर्माण की योजनाओं में वन भूमि हस्तांतरण से जुड़े सभी प्रकरणों में अनुमति देने के लिए उत्तराखंड को भी अधिकृत किया जाना चाहिए। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने दिल्ली में केंद्रीय पर्यावरण एवं वन मंत्री डॉ.हर्षवर्धन से मुलाकात के दौरान यह मसला प्रमुखता से रखा। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड का अधिकांश क्षेत्र चीन व नेपाल की सीमा से सटा है। ऐसे में पूर्वी व पश्चिमी सीमा के लिए जो व्यवस्था है, वह यहां भी होनी चाहिए। इससे सीमा सड़क संगठन और आइटीबीपी को लाभ मिलने के साथ ही स्थानीय निवासियों को भी सड़क सुविधा मुहैया हो सकेगी।  मुख्यमंत्री ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय सीमा से लगे भागीरथी इको सेंसिटिव जोन (गोमुख से उत्तरकाशी) की अधिसूचना पर पुनर्विचार किया जाए और इससे संबंधित जोनल मास्टर प्लान को उसी प्रकार शिथिलीकरण कर स्वीकृत किया जाए, जैसा महाराष्ट्र और हिमाचल में किया गया है। उन्होंने कहा कि भागीरथी इको सेंसिटिव जोन के कारण ऑल वेदर रोड परियोजना के साथ ही जलविद्यु

ट्रैफिक सुधार को राज्य में जूनियर ट्रैफिक फोर्स भी करेगी काम

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देहरादून । ट्रैफिक सुधार को अब राज्य में जूनियर ट्रैफिक फोर्स भी काम करेगी। इसके लिए दून के 40 सरकारी व प्राइवेट स्कूलों से 600 छात्र-छात्राओं को चयनित किया गया है। एक दिसंबर से यह फोर्स राज्य में काम करना शुरू कर देगी। इसके बाद हरिद्वार और ऊधमसिंहनगर में भी इस पहल की शुरुआत की जाएगी।  ट्रैफिक निदेशालय ने स्कूल में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं को एनसीसी की तर्ज पर जूनियर ट्रैफिक फोर्स में शामिल करने की योजना बनाई है। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के निर्देश पर यह फोर्स गठित की गई है। इसमें स्वयंसेवकों को चिह्नित कर फोर्स में शामिल किया जा रहा है। अभी दून के 40 स्कूलों से 15-15 छात्र-छात्राओं को इसके लिए चिह्नित किया गया है। एक दिसंबर से यह फोर्स दून में ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन करने वालों को नियमों का पाठ पढ़ाएगी।  फोर्स पूरी तरह से स्वयंसेवकों की तरह काम करेगी। प्रदेश के प्रभारी ट्रैफिक निदेशक एआइजी केवल खुराना ने बताया कि दून के बाद 16 दिसंबर से हरिद्वार और ऊधमसिंहनगर में भी फोर्स का गठन किया जाएगा। फोर्स को ट्रैफिक नियमों के पालन कराने के लिए सीडी, पुस्तकें, पंफ्लेट आदि

हल्द्वानी के युवक ने गूगल में पकड़ी गलती

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हल्द्वानी।  पहाड़ की प्रतिभाएं देश ही नहीं विश्व में भी अपनी काबिलियत का लोहा मनवा रही हैं। विश्व में आइटी क्षेत्र में पहचान बनाने वालों में हल्द्वानी के साइबर एक्सपर्ट विकास सिंह बिष्ट का नाम भी जुड़ गया है। विकास ने गूगल की एक वेबसाइट में खामी ढूंढी है। गूगल की सिक्योरिटी टीम ने गलती स्वीकारते हुए उसमें सुधार किया है।  साथ ही इस साल गूगल में गलती ढूंढने वाले विश्व के कुल 980 आइटी एक्सपर्ट में 322वीं रैंक में विकास का नाम शामिल किया है। गूगल ने अपने बगहंटर प्रोग्राम के भीतर वलनरेबिलिटी रिवार्ड प्रोग्राम के तहत हाल ऑफ फेम में विकास की प्रोफाइल डालकर प्रोत्साहित भी किया है। इसके साथ ही 100 डालर प्रोत्साहन राशि देने की मेल भी विकास को मिली है।  मूल रूप से पिथौरागढ़ जिले के मिर्थी में रहने वाले विकास सामान्य परिवार से ताल्लुक रखते हैं। विकास के पिता चंदन सिंह बिष्ट धारचूला के जूनियर हाईस्कूल में शिक्षक हैं। विकास ने मेरठ से इंटीग्रेटेड ग्रेजुएशन इन साइबर सिक्योरिटी (आइजीसीएस) कोर्स किया है। वर्तमान में विकास इंडियन साइबर डिफेंस एलाइंस संस्था के चीफ ऑपरेशन ऑपरेटर के तौर पर हल्द्वान

सौरभ गांगुली के घर में मिला डेंगू फैलाने वाले मच्छरों का लार्वा

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नई दिल्ली ।   भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान सौरभ गांगुली मच्छरों की वजह से मुश्किल में पड़ सकते हैं। दरअसल, उनके घर से नगर निगम, कोलकाता ने डेंगू फैलाने वाले मच्छरों का लार्वा पाया है। खबरों की मानें तो नगर निगम उन्हें जल्द ही नोटिस भेज सकता है। उल्लेखनीय है कि सौरभ के बड़े भाई स्नेहाशीष को डेंगू हुआ है। फिलहाल उनका इलाज कोलकाता के ही एक अस्पताल में चल रहा है।   इस बारे में कोलकाता नगर निगम की मेयर परिषद (स्वास्थ्य) के सदस्य अतिन घोष ने कह- हमें 19 नवंबर को हुई जांच में दादा (सौरभ गांगुली) के घर से डेंगू के मच्छरों का लार्वा मिला था। हमने उन्हें घर को साफ रखने को कहा था।  उन्होंने बताया कि गांगुली के घर के बड़े परिसर में गुरुवार को हुए निरीक्षण में कोलकाता नगर निगम के अधिकारियों ने डेंगू के मच्छरों के लार्वा देखे। अगर सफाई करवाती होती उन्होंने तो ऐसा नहीं होता। घोष ने बताया कि अब नगर नियमों के मुताबिक सौरभ गांगुली को नोटिस भेजा जाएगा।  बंगाल क्रिकेट एसोसिएशन अध्यक्ष गांगुली के क्रिकेटर भाई स्नेहाशीष गांगुली को बुधवार को ही कोलकाता के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया है। अस्पताल

वरुण ने मांगी मुंबई पुलिस से माफी

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मुम्बई। बॉलिवुड ऐक्टर्स  के लिए कई बार फैन्स कुछ ऐसा कर जाते हैं कि स्टार्स सबके सामने शर्मिंदा हो जाते हैं और कभी मायानगरी के ये सितारे ही अपने फैन्स के लिए ऐसा कुछ कर बैठते हैं कि उन्हें सरेआम बेइज्जत होना पड़ता है। दरअसल हाल ही में ऐसा कुछ हरफनमौला ऐक्टर वरुण धवन के साथ हुआ जब उन्होंने अपनी कार से एक फैन के साथ सेल्फी क्लिक करके फैन को खुश किया। मगर मुंबई पुलिस को यह हरकत काफी नागवार गुजरी।  दरअसल ऐक्टर जब अपनी आलीशान कार से जा रहे थे तो पास से एक ऑटोरिक्शा से गुजरती महिला फैन ने उनके साथ फोटो लेने की इच्छा जाहिर की। इसके बाद वरुण ने अपनी कार की खिड़की से निकलकर, उस फैन के साथ सेल्फी ली। जिसे कुछ फटॉग्रफर्स ने देखकर क्लिक कर लिया और कल के सभी अखबारों की सुर्खियों में वह छा गए। जिसके बाद वरुण की परेशानियां काफी बढ़ गईं। दरअसल इसके लिए मुंबई ट्रैफिक पुलिस ने न केवल इस बारे में ऐक्टर को ट्वीट कर खरी-खरी सुनाई, बल्कि अगली बार ऐसा कुछ होने पर और भी सख्ती से पेश आने को लेकर आगाह किया।  हालांकि एक अच्छे नागरिक होने के नाते वरुण ने भी झट अपनी गलती मानते हुए माफी मांगने के साथ ही ऐसा भवि

7 पतियों की हत्या करने वाली जापानी महिला को मौत की सजा

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नई दिल्ली ।   कहते हैं मकड़ी अपने पार्टनर के साथ संबंध बनाने के बाद उसे मारकर खा जाती है। जापान की  चिसाको काकेही इंसान जरूर हैं लेकिन फितरत के मामले में मकड़ी से कम नहीं। 71 साल की इस बुजुर्ग महिला को अपने सात पार्टनरों की हत्या के आरोप में मौत की सजा सुनाई गई है। चिसाको पर आरोप है कि उसने पतियों की संपत्ति और बीमा का पैसा हड़पने के लिए यह सब किया।  कहा जाता है कि काकेही के 14 पुरुषों के साथ संबंध थे। वह डेटिंग एजेंसी के जरिए बुजुर्ग, अमीर और अकेले पुरुषों की तलाश करती थी। पार्टनर तलाशने की उसकी शर्त यह भी थी कि इन पुरुषों की कोई संतान या करीबी रिश्तेदार न हो। रिलेशनशिप में आने के बाद जैसे ही ये वृद्ध पुरुष काकेही को अपनी बीमा पॉलिसी का उत्तराधिकारी बनाते, वह मर्डर की प्लानिंग शुरू कर देती। काकेही अपने पार्टनर के खाने या दवा में साइनाइड मिला देती थी। यह जहरीला पदार्थ वह घर के गमलों या बगीचे में छिपाकर रखती थी।  जापान के कित्याक्युषु शहर में 28 नवंबर 1946 को काकेही का जन्म एक मध्यमवर्गीय परिवार में हुआ था। पिता ने उच्च शिक्षा देने की जगह उसकी शादी करना बेहतर समझा। एक फैब्रिक कंपनी

हाई कोर्ट ने रद्द किया मंत्री का चुनावी नामांकन पत्र

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औरंगाबाद ।   बॉम्बे हाई कोर्ट  की औरंगाबाद बेंच ने महाराष्ट्र सरकार में मंत्री और शिवसेना के विधायक  अर्जुन खोतकर  के  चुनावी नामांकन  को रद्द कर दिया है। 2014 के विधानसभा चुनावों के दौरान समयसीमा के बाद नामांकन पत्र दाखिल करने की वजह से कोर्ट ने मंत्री के खिलाफ यह कार्रवाई की है।  कोर्ट ने मंत्री खोतकर के खिलाफ 3 वर्ष पुराने मामले में सुनवाई करते हुए  यह फैसला दिया है ।  नामांकन रद्द करने के साथ ही कोर्ट ने इस आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने के लिए 4 सप्ताह का वक्त दिया है। खोतकर ने पिछले चुनाव में 296 वोटों के मामूली अंतर से जीत दर्ज की थी।   पूर्व विधायक कैलाश गोरंटयाल ने खोतकर के खिलाफ हाई कोर्ट में याचिका दी थी। याचिका में आरोप लगाया गया था कि उन्होंने पिछले चुनाव में धांधली के जरिए जीत हासिल की थी। अपने 25 साल के राजनीतिक करियर में खोतकर कई अहम पदों पर भी काम कर चुके हैं।  1990 में पहली बार विधायक बनने वाले खोतकर जिला सहकारी बैंक के अध्यक्ष और सरकारी चीनी मिल में भी संचालक के पद पर रह चुके हैं। 

फुटपाथ पर वाहनों का कब्जा बना खतरा

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रायवाला। हरिद्वार-दून हाईवे पर लाल तप्पड़ स्थित इंडस्ट्रियल एरिया में सड़क किनारे हो रही वाहनों की पार्किंग राहगीरों के लिए मुसीबत का सबब बन रही है। आलम यह है कि फैक्ट्रियों में काम करने वाले कर्मचारियों के वाहन और यहां माल ढुलाई करने वाले वाहन सड़क पर पार्क किए जाते हैं। जिससे हाईवे पर आवाजाही में दिक्कत होती है और हर वक्त हादसे का खतरा बना रहता है। इंडस्ट्रियल एरिया में लाल तप्पड़ चौक से लेकर फनवैली के पास तक सड़क के किनारे सैकड़ों ट्रक व अन्य वाहन बेतरतीब खड़े होते हैं। फुटपाथ से लेकर आधे हाईवे तक कब्जा जमाए ये वाहन स्थानीय लोगों व राहगीरों की मुसीबतें बढ़ा रहे हैं। चालकों की मनमानी से हाईवे पार्किंग जोन में तब्दील हो गया है। मौजूदा समय में कोहरे के कारण दुर्घटना की आशंका और भी बढ़ जाती है।  स्थानीय लोगों व राहगीरों का कहना है कि ट्रकों के आड़े-तिरछे खड़े होने से आए दिन बड़ा हादसा होने की आशंका बनी रहती है। खास बात यह है कि यह वाहन क्षेत्र में स्थित फैक्ट्रियों में काम करने वाले कर्मचारियों और यहां माल लाने ले जाने वाले ट्रांसपोर्टर्स के होते हैं। यहां लो¨डग अनलो¨डग करने वाले वाहनों

कांग्रेस को समर्थन देंगे हार्दिक पटेल

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हमदाबाद ।  पाटीदार नेता हार्दिक पटेल ने बुधवार को कांग्रेस द्वारा दिए गए सकारात्‍मक समर्थन को सार्वजनिक करते हुए बताया कि आरक्षण पर कांग्रेस ने उनकी मांगों पर सहमति जतायी है। हार्दिक ने कहा, कांग्रेस को खुले तौर पर समर्थन नहीं दे रहे हैं लेकिन हम भाजपा के खिलाफ लड़ेंगे तो कहीं न कहीं ये कांग्रेस को ही समर्थन है। कांग्रेस ने पाटीदार नेता हार्दिक पटेल के साथियों को टिकट दिया है। हार्दिक ने कांग्रेस को लेकर अपनी स्‍थिति स्‍पष्‍ट करते हुए बताया, ‘आरक्षण पर कांग्रेस ने हमारी बातें मान ली है। सत्‍ता में आते ही कांग्रेस आरक्षण पर प्रस्‍ताव पास कराएगी। हमें 50 फीसद से अधिक आरक्षण दिया जा सकता है।‘ उन्‍होंने आगे कहा, टिकट को लेकर कोई सौदेबाजी नहीं हुई है। हमने कोई टिकट नहीं मांगा। अपनी संस्था में किसी तरह के मतभेद से इंकार करते हुए हार्दिक ने कहा, ‘अन्‍याय के खिलाफ लड़ना हमारा संस्‍कार है। हमारी लड़ाई भाजपा सरकार के खिलाफ है। भाजपा की नीयत में खोट है। हमारे संयोजकों को खरीदने की कोशिश की गयी।’ हार्दिक ने यह भी बताया कि रोजगार व शिक्षा को लेकर सोचने वाली कांग्रेस पाटीदार के हैसियत पर सर्वे

कंगना रनौत फिर हुई घायल

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मुंबई। कंगना रनौत एक बार फिर घायल हो गई हैं । अपनी फिल्म मणिकर्णिका की शूटिंग के दौरान उन्हें चोट लगी है। घटना जोधपुर में शूटिंग के दौरान की है। कंगना का प्राथमिक उपचार किया गया है लेकिन बेहतर ट्रीटमेंट के लिए कंगना मुंबई वापस आ रही हैं। बता दें कि पिछले कुछ दिनों से जोधपुर के मेहरानगढ़ किले में कृष निर्देशित मणिकर्णिका- द क्वीन ऑफ़ झांसी की शूटिंग चल रही थी । जानकारी के मुताबिक घटना मंगलवार की रात की है जब शूटिंग के दौरान अचानक एक सीन के वक्त कंगना के पैर में चोट लग गई। कंगना उस समय एक स्टंट कर रहीं थीं। उन्हें एक ऊंची दीवार से घोड़े के ऊपर छलांग लगानी थी लेकिन ऐसा करते वक्त वो पैर के बल ज़मीन पर धड़ाम से गिर गईं । हालांकि इससे पहले उन्होंने कई तरह के स्टंट और तलवारबाजी के सीन किये । चोट की गंभीरता को देखते हुए उन्हें तुरंत जोधपुर के गोयल अस्पताल में भर्ती किया गया । उनका इलाज करने वाले डॉक्टर के मुताबिक कंगना के दायें पैर में चोट लगी है लेकिन पैर में कोई फ्रैक्चर नहीं है। कंगना का प्राथमिक उपचार करने के बाद उन्हें रात दो बजे अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया । बताया जाता है कि वो कंग

कोहली ने 50वां शतक जमाया

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नई दिल्ली।  कोलकाता में खेले गए पहले टेस्ट मैच में विराट कोहली ने अपने अंतरराष्ट्रीय करियर का 50वां शतक जमाया। इस शतकीय पारी के बावजूद टीम इंडिया इस मैच को जीतने में नाकाम रही। लेकिन इस मुकाबले में कप्तान कोहली ने एक ऐसा काम कर दिया जो आजतक कोई भी भारतीय कप्तान नहीं कर पाया था। श्रीलंका के खिलाफ खेले गए पहले टेस्ट मैच में विराट कोहली पहली पारी में खाता तक खोलने में नाकाम रहे थे। पहली पारी में कोहली भले ही शून्य पर आउट हो गए हों, लेकिन दूसरी पारी में शतक जमाकर उन्होंने एक ऐसी उपलब्धि हासिल कर ली, जिसे भारत का कोई भी कप्तान हासिल नहीं कर पाया था। विराट एक ही टेस्ट में शून्य और शतक लगाने वाले पहले भारतीय कप्तान और 18वें ओवरऑल कप्तान बने। भारतीय बल्लेबाजों में उनसे पहले चेतेश्वर पुजारा ने 2015 में कोलंबो में श्रीलंका के ही खिलाफ ऐसा किया था, जबकि भारतीय सरजमीं पर मिस्टर कूल राहुल द्रविड़ ने 2008 में मोहाली में इंग्लैंड के खिलाफ यह कारनामा किया था। कप्तान के तौर पर कोहली इस साल क्रिकेट के सभी प्रारूप में 09 शतक लगा चुके हैं। उनके अलावा कोई और कप्तान इस साल इतने या इससे ज्यादा शतक नह

बर्खास्त उपराष्ट्रपति ने मुगाबे से इस्तीफा देने की अपील की

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जिंबाब्वे ।  जिंबाब्वे में राष्ट्रपति रॉबर्ट मुगाबे के खिलाफ संसद में महाभियोग की प्रक्रिया की तैयारी के बीच बर्खास्त उपराष्ट्रपति एमर्सन नांगाग्वा ने उनसे इस्तीफा देने की अपील की है। जिंबाब्वे में सेना के सत्ता संभालने के बाद पहली बार उनका बयान आया है। इस बीच बुधवार को सैन्य तख्तापलट के बाद मुगाबे ने पहली कैबिनेट बैठक की। इसमें केवल पांच मंत्रियों और अटार्नी जनरल ने हिस्सा लिया। जबकि 17 मंत्रियों ने महाभियोग की तैयारी को लेकर बैठक में हिस्सा लिया। बर्खास्तगी के बाद विदेश चले गए नांगाग्वा ने कहा कि सुरक्षा और गिरफ्तार नहीं किए जाने की गारंटी मिलने पर ही वह स्वदेश लौटेंगे। उन्होंने कहा कि जिंबाब्वे ने बिना हिंसा के 93 वर्षीय मुगाबे के इस्तीफे की अतृप्त इच्छा जाहिर कर दी है। उन्होंने कहा, 'राष्ट्रपति मुगाबे से मेरी अपील है कि वह इस मांग पर ध्यान दें।' बता दें कि मुगाबे पद नहीं छोड़ने को लेकर अड़े हुए हैं। जिंबाब्वे की आजादी के लिए लड़ाई लड़ने वाले एक अन्य वरिष्ठ नेता क्रिस मुत्सवांग्वा ने मुगाबे पर जल्द इस्तीफे का दबाव बनाने के लिए लोगों से राजधानी हरारे की सड़कों पर उतरन

पेट कोक और फर्नेश ऑयल पर लगी पाबंदी को हटाने से किया इनकार : SC

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नई दिल्ली।  सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश, हरियाणा और राजस्थान के उद्योगों में प्रदूषित ईंधन पेट कोक और फर्नेस ऑयल के प्रयोग पर लगी रोक को हटाने से इनकार कर दिया है। इसके अलावा कोर्ट ने एनटीपीसी की उस मांग को भी ठुकरा दिया जिसके तहत कोर्ट से फर्नेस ऑयल की जगह वैकल्पिक ईंधन का इस्तेमाल करने के लिए और समय देने की माँग की गई थी। आपको बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने 24 अक्टूबर को एक आदेश जारी कर एक नवंबर से चार राज्यों चार राज्यों राजस्थान, हरियाणा, उत्तर प्रदेश व दिल्ली में पेट-कोक व फर्नेस ऑयल के उपयोग पर प्रतिबंध लगाया था। इसके बाद उद्यमी सुप्रीम कोर्ट में पुनर्विचार याचिका के माध्यम से राहत के लिए गए थे मगर उद्यमियों को सुप्रीम कोर्ट से कोई राहत नहीं मिली थी। पहले प्रभावित उद्यमियों को केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय से राहत की उम्मीद थी मगर 17 नवंबर को उनकी यह उम्मीद तब टूट गई जब मंत्रालय की तरफ से केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने सुप्रीम कोर्ट में यह कह दिया कि केंद्र सरकार पर्यावरण संरक्षण के लिए पेट-कोक व फर्नेस ऑयल पर पूरी तरह प्रतिबंध लागू कर रही है।  इसके बाद प्रभावित उद्योगों